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Wednesday, June 27, 2012

ऑनलाइन सीख रहे लैंग्वेज, तो ये हैं BEST SIX वेबसाइट्स



भोपाल। ग्लोबल एक्सपोजर की चाह और स्टडी से लेकर बिजनेस तक में नॉलेज शेयरिंग के लिए लोग डिफरंट लैंग्वेज सीख रहे हैं। इसके लिए वो कोचिंग ज्वॉइन करने का पारंपरिक तरीका अपनाने के बजाय ऑनलाइन कोर्स को तवज्जो दे रहे हैं। कई वेबसाइट ऐसी हैं जो लैंग्वेज सिखाने के साथ-साथ वहां के एक्सेंट, वे ऑफ टॉकिंग भी सिखाती हैं।

इन ऑनलाइन क्लासेज में वे विदेशी भाषा का ज्ञान लेते हैं और वोकेबलरी , प्रनन्सिएशन भी सीखते हैं। फॉरेन लैंग्वेज से जुड़े एक्सपर्ट कहते हैं कि ये कोर्स कुछ समय के ही होते हैं, साथ ही घर बैठे इन कोर्सेज को आसानी से किया जा सकता है। ग्लोबलाइजेशन के दौर में कंपनीज और एजुकेशन डिपार्टमेंट डिफरंट लैंग्वेज की डिमांड है जिसे पूरा करने यंग प्रोफेशनल्स इन वेबसाइट्स
की मदद लेते हैं।

कोर्स से करते हैं खुद को अपडेट

5 भाषाओं के जानकार लैंग्वेज ट्रेनर आमिर महबूब हर भाषा को अलग-अलग क्षेत्रों के मुताबिक प्रनन्शिएट करना भी बखूबी आता है। वे कहते हैं लैंग्वेज सीखने के साथ-साथ उस देश या क्षेत्र की वोकेबलरी, एक्सेंट, वाइस मॉड्यूलेशन और सबसे अहम बॉडी लैंग्वेज जानना भी बेहद जरूरी होता है। तभी हम उस क्षेत्र के लोगों के साथ अच्छे से मिक्सअप हो सकते हैं।

दो साल पहले तक केवल फॉरेन जाने की इच्छा रखने वाले स्टूडेंट्स ही ब्रिटिश, जर्मन, फ्रेंच आदि लैंग्वेज सीखते थे, लेकिन अब इंडिया की मेट्रो सिटीज में काम करने के लिए भी लोग लैंग्वेज कोर्स कर रहे हैं। मैं खुद भी दूसरे देशों में स्टूडेंट्स को ट्रेनिंग देने जाता हूं, इसलिए खुद को अपडेट करने ऑनलाइन लैंग्वेज कोर्स की हमेशा मदद लेता रहता हूं। इस पर दिए वीडियोज मुझे लैंग्वेज के साथ-साथ वहां के बात करने का तरीका और अभिवादन करने जैसी कई चीजों के तरीके जानने में आसान कर देते हैं।

ग्लोबल एक्सपोजर पाने का आसान तरीका है लैंग्वेज लर्निग

एब्रॉड स्टडी के लिए स्टूडेंट्स को गाइडेंस देने वाले वैदिक इंस्टीट्यूट के डायरेक्टर विशाल दीक्षित कहते हैं ग्लोबल एक्सपोजर के लिए डिफरंट लैंग्वेज सीखना सबसे हेल्प फुल टूल है। विभिन्न देशों की यूनिवर्सिटीज में जब विजिट करने जाता हूं तो मैं हमेशा वहां की लैंग्वेज के कुछ वाक्य साइट्स के जरिए जरूर सीखकर जाता हूं, ताकि वहां कंफर्टेबल फील कर सकूं। चीन जाना काफी होता है, इसलिए चाइना काफी सीख ली है। इससे मुझे वहां की ज्यादा जानकारियां जुटाने और बाजार की स्थिति समझने में भी मदद मिलती है।

स्टूडेंट विभोर दुबे ने ऑनलाइन बिजनेस इंग्लिश सीखी है। वे बताती हैं कि कॉलेज में इंटर कल्चरल प्रोग्राम नाम का प्रोजेक्ट होता है, जिसमें हम वर्चुअल कंपनी क्रिएट कर दूसरे देशों के स्टूडेंट्स के साथ यह कंपनी चलानी होती है। मुझे यूरोपियन स्टूडेंट्स के साथ यह प्रोजेक्ट करना था। तब मैंने यूरोपियन कंट्रीज की वोकेबलरी, बिजनेस इंग्लिश की टर्मिनोलॉजी, फॉर्मल लैंग्वेज की टर्म्स सीखीं।

सीखने के बाद सिखा रहे जापानी

राष्ट्रीय तकनीक शिक्षक प्रशिक्षण एवं अनुसंधान संस्थान के डायरेक्ट विजय अग्रवाल कुछ साल पहले एजुकेशनल टूर पर जापान गए। वहां के प्रोफेसर्स अंग्रेजी के साथ-साथ जापानी में भी बात करते जिससे वे कई बार उनकी बातों का जवाब नहीं दे पाता थे। तब उन्होंने वहीं पर जापानी सीखना शुरू की। इसके बाद भारत वापस आया तो उन्हें लगा कि अपनी मातृभाषा में ही बात करना पसंद करने वाले जापानियों से नॉलेज शेयरिंग के लिए उनकी भाषा सीखना चाहिए। तब उन्होंने जापानी ऑनलाइन सीखना शुरू की। अब वे बहुत अच्छी जापानी बोलने के साथ-साथ लिख लेते हैं और स्टूडेंट्स को सिखाते हैं।

लैंग्वेज सीखने के लिए वेबसाइट्स 



Friday, June 15, 2012

बड़े काम का छोटा पुदीना

पुदीने का पौधा कहीं भी किसी भी जमीन, यहां तक कि गमले मेे भी आसानी से उग जाता है। यह गर्मी झेलने की शक्ति रखता है। इसे किसी भी ऊर्वरक की आवश्यकता नहीं पड़ती है। थोड़ी सी मिट्टी और पानी इसके विकास के लिए पर्याप्त हैं। पुदीना को किसी भी समय उगाया जा सकता है। इसकी पत्तियों को ताजा तथा सुखाकर प्रयोग में लाया जा सकता है।

यूं करें इस्तेमाल
सलाद में इसका उपयोग स्वास्थ्यवर्द्धक है। प्रतिदिन इसकी पत्ती चबाई जाए तो दंत क्षय, मसूढ़ों से रक्त निकलना, पायरिया आदि रोग कम हो जाते हैं। यह एंटीसेप्टिक जैसा कार्य करता है और दांतों तथा मसूढ़ों को जरूरी पोषक तत्व पहुंचाता है।

एक गिलास पानी में पुदीने की चार से पांच पत्तियां डालकर उबालें। ठंडा होने पर फ्रिज में रख दें। इस पानी से कुल्ला करने पर मुंह की दुर्गध दूर हो जाती है।

पुदीना कीटाणुनाशक है। यदि घर के चारों तरफ पुदीने के तेल का छिड़काव कर दिया जाए तो मक्खी, मच्छर, चींटी आदि कीटाणु भाग जाते हैं।

पुदीने की पत्तियों को पीसकर चेहरे पर लेप करने से, भाप लेने से, मुहांसे, चेहरे की झाइयों और दागों में लाभ 
होता है।

एक टब में पानी भरकर उसमें कुछ बूंद पुदीने का तेल डालकर यदि उसमें पैर रखे जाएं तो थकान से राहत मिलती है और बिवाइयों के लिए बहुत लाभकारी है।

पुदीने का ताजा रस क्षय रोग, अस्थमा और विभिन्न प्रकार के श्वास रोगों में बहुत लाभकारी है।

पानी में नींबू का रस, पुदीना और काला नमक मिलाकर पीने से मलेरिया के बुखार में राहत मिलती है।

हकलाहट दूर करने के लिए पुदीने की पत्तियों में काली मिर्च पीस लें तथा सुबह शाम एक चम्मच सेवन करें। 

हिचकी की शिकायत होने पर इसकी पत्तियों को चूसने से या इसके रस को शहद के साथ लेने से राहत मिलती है।

पुदीने की चाय में दो चुटकी नमक मिलाकर पीने से खांसी में लाभ मिलता है।

हैजे में पुदीना, प्याज का रस, नींबू का रस समान मात्रा में मिलाकर पिलाने से लाभ होता है। उल्टी-दस्त हैजा हो तो आधा कप रस हर घंटे के अंतराल पर रोगी को पिलाएं।

पुदीने का ताजा रस शहद के साथ सेवन करने से ज्वर दूर हो जाता है तथा न्यूमोनिया से होने वाले विकार भी नष्ट हो जाते हैं।

पेट में अचानक दर्द उठता हो, तो अदरक और पुदीने के रस में थोड़ा सा सेंधा नमक मिलाकर सेवन करे। 

नकसीर आने पर प्याज और पुदीने का रस मिलाकर नाक में डाल देने से नकसीर के रोगियों को बहुत लाभ होता है।

Thursday, June 14, 2012

बिजली की समस्या है तो उठाइए फोन और डायल कीजिए ये नंबर!

अजमेर.शहरवासी बिजली संबंधी समस्याओं के लिए अब सीधे शिकायत दर्ज करा सकेंगे। डिस्कॉम की ओर से शिकायत दर्ज करने के लिए कई केंद्र बनाए गए हैं। साथ ही लोग एईएन स्तर के इंजीनियरों को अपनी परेशानी से अवगत करा सकेंगे। एक्सईएन मुकेश ठाकुर ने शहरी क्षेत्र के सभी एईएन एवं जेईएन को तत्काल शिकायतों का निस्तारण करने के निर्देश दिए हैं।

इन नंबरों पर दर्ज करा सकेंगे शिकायत: 

हजारी बाग सब डिवीजन-1 में 2460911, एईएन 9413391614, हाथीभाटा सब डिवीजन-2 में 2440480, एईएन 9413391615,सब डिवीजन-3 में 2431708 एईएन 9413391616, वैशाली नगर सब डिवीजन-5 में 2641797 एईएन 9413391619, शास्त्री नगर सब डिवीजन में 2432603 एईएन 9414068413, परबतपुरा सब डिवीजन-4 में 2695297, एईएन 9413391618,मेयो कॉलेज सब डिवीजन 2660797 एईएन 9414068369, मदार सब डिवीजन में 2670763 तथा एईएन 9413391620 के नंबरों पर शिकायत दर्ज कराई जा सकेगी।